Pintu ki pappi movie review in hindi शिव हरि द्वारा निर्देशित ‘पिंटू की पप्पी’ फिल्म आज 21 मार्च 2025 को सिनेमाघर में दस्तक दे चुकी है,एक्शन और कॉमेडी के डोज़ के साथ फ़िल्म की कहानी काफ़ी अलग है।
आज मुझे यह फिल्म देखने का मौका मिला और इस फिल्म को देखने के बाद एक नया अनुभव प्राप्त हुआ, फ़िल्म मे मुख्य किरदार सुशांत ठमके, जान्या जोशी और विधि का है इनके अलावा विजय राज, मुरली शर्मा और गणेश आचार्य जैसे कलाकार भी इस फ़िल्म मे शामिल है।
एक पप्पी अभिशाप या वरदान:
फिल्म की कहानी एक लड़के पिंटू(सुशांत ठमके) के इर्द-गिर्द घूमती है, जिसके पास एक ऐसा जादू है जिसे सुन कर हसीं आएगी और आश्चर्य भी की क्या वास्तव में भी ऐसा हो सकता है, दरअसल पिंटू जिस भी लड़की को पप्पी देता है उसकी किस्मत चमक जाती है और उसकी शादी हो जाती है पर पिंटू से नहीं बल्कि किसी और स, पहले पिंटू इस बात को हलके मे लेता है
पर धीरे-धीरे मुझे पिंटू के लिए यह एक सिर दर्द बन जाता है, फिर आता है कहानी मे ट्वीस्ट जब वह अपने प्यार(जान्या जोशी) से मिलता है और उसे खोना नहीं चाहता इस डर से वह उसे पप्पी नहीं देता साथ ही जब पिंटू के मामा को इस वरदान का पता चलता है तो वह इससे पैसे कमाने की सोचता है
और फिर शुरू होता है हसीं ठहाकों और एक्शन सीन का सिलसिला जिसे देख कर मज़ा आने वाला है।अब पिंटू की पप्पू अभिशाप साबित होगी या वरदान यह फिल्म देखने के बाद ही पता चलेगा।
फ़िल्म मे क्या है खास:
फिल्म की खास बातों पर नजर डालें तो सबसे खास फिल्म की कहानी है क्यूंकि इस फ़िल्म मे एक नई और अलग हटके कहानी लाई गई है जिसे शुरू मे देखने पर तो विश्वास नहीं होता पर जैसे जैसे कहानी आगे बढ़ती है मनोरंजन के तौर पर यह कहानी आपको अच्छी लगने लगती है।
वहीँ दूसरी तरफ फ़िल्म की कॉमिक टाइमिंग ज़बरदस्त है थोड़ी थोड़ी देर बाद फ़िल्म दर्शकों को कॉमेडी का डोज़ देती रहती है जिससे आप इस फ़िल्म से बंधे रहेंगे और कॉमेडी के साथ एक्शन सीन इस फ़िल्म मे जान डाल देते है। यह फ़िल्म कोई बढ़े बजट की फ़िल्म नहीं है पर कम बजट मे भी दर्शकों को एंटरटेन करने का वादा करती है।
कलाकारों का योगदान:
फ़िल्म मे कलाकारों मे भले कुछ नये चेहरे दिखाए गए है पर सभी ने अपने अभिनय से फ़िल्म मे जान डाली है जहाँ एक तरफ सुशांत ठमके और जान्या जोशी का मिलन एक रोमांटिक माहौल बनाता है वही विजय राज ने अपनी पिछली फिल्मो की तरह इस फ़िल्म मे भी कॉमेडी का ज़बरदस्त तड़का लगाया है।
इस फ़िल्म मे गणेश आचार्य की एक्टिंग के साथ डांस ने पुरानी फिल्मो की याद दिला दी है।
क्या रहीं खामियाँ:
अच्छी पटकथा और ज़बरदस्त कलाकरो के बावजूद फ़िल्म को सेकंड हाफ मे कहीं कहीं पर ज़बरदस्ती खींचा गया है वहीँ कुछ सीन ज़ादा लम्बे कर दिए गए जिससे दर्शकों को बोरियत महसूस हो सकती है।
वहीँ विधि के किरदार को और भी ज़ादा अच्छे से पेश किया जा सकता था पर फ़िल्म मे विधि की स्क्रीन टाइमिंग थोड़ा कमज़ोर रही।
ओवरआल रिव्यु:
फिल्म के ओवरऑल रिव्यू की बात करें तो इस फिल्म मे रोमांस और कॉमेडी के साथ एक्शन का भी तड़का है, कहानी काफ़ी अलग और मज़ेदार है जिसे आप फॅमिली के साथ एन्जॉय कर सकते है हालांकि फ़िल्म कोई गहरा सन्देश नहीं देती पर अगर इस वेकेंड आप मौज मस्ती के लिए कोई कॉमेडी फ़िल्म देखना चाहते है तो यह फ़िल्म बेस्ट ऑप्शन रहेगा।
फिल्मीड्रिप की तरफ से इसे 3.5/5 की रेटिंग दी गयी है।
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