phule movie trailer:24 मार्च 2025 के दिन Zee स्टूडियो ने अपनी आने वाली फिल्म “फुले” का ट्रेलर रिलीज कर दिया है। जिसकी कहानी समाज सुधारक ज्योतिराव फुले और उनकी पत्नी सावित्रीबाई फुले के जीवन पर आधारित है,जिसे बायोपिक के तौर पर फिल्म में प्रेजेंट किया जाएगा।
यह 11 अप्रैल 2025 को ज्योतिबा फुले की जयंती के अवसर पर सिनेमाघरों में रिलीज होगी। फिल्म का ट्रेलर रिलीज होने के कुछ ही घंटों में यह सोशल मीडिया पर #फुले ट्रेलर के नाम से ट्रेंड करने लगा। जिससे एक बात तो साफ हो जाती है कि दर्शकों के बीच फिल्म की हाइप डीसेंट है।
फिल्म के मुख्य किरदारों की बात करें तो इसमें प्रतीक गांधी, जिन्होंने ज्योतिबा फुले की भूमिका निभाई है, साथ ही पत्रलेखा भी फिल्म में मौजूद हैं,जो सावित्रीबाई फुले का किरदार निभा रही हैं। फिल्म का निर्देशन अनंत महादेवन ने किया है,जो इससे पहले भी अपनी ऐतिहासिक कहानियों को पर्दे पर पेश कर चुके हैं।
ट्रेलर की विशेषता
फिल्म “फुले” का ट्रेलर ढाई मिनट से भी ज्यादा लंबा है, जिसमें 19वीं सदी के भारत को दिखाया गया है। ट्रेलर में ज्योतिराव फुले को एक ऐसे शख्स की भूमिका के रूप में दिखाया गया है,जो जातिवाद और महिलाओं के प्रति भेदभाव को रोकने के लिए अटल होकर खड़ा हुआ है। ट्रेलर में सावित्रीबाई की आवाज में एक डायलॉग भी सुनाई देता है। जिसमें वह कहती हैं “सबसे बड़ा उद्देश्य रहेगा, कि किसी को शूद्र नहीं बल्कि दलित कहा जाए”।
ट्रेलर को देखकर अंदाजा लगाया जा सकता है कि फिल्म की सिनेमैटोग्राफी काफी डार्क रंगों वाली है, जो उस समय की उन कठिनाइयों को और भी ज्यादा पर्दे पर उभारने का काम करती है। साथ ही बैकग्राउंड म्यूजिक फिल्म में चार चाँद लगा देता है,जो कहानी को और भी ज्यादा भावात्मक और गहराई देता है।
BIOPIC ON MAHATMA PHULE: PRATIK GANDHI – PATRALEKHA – 'PHULE' TRAILER UNVEILS… 11 APRIL 2025 RELEASE… #PhuleTrailer is LIVE now… #Phule features #PratikGandhi [as #MahatmaPhule] and #Patralekhaa [as #MahatmaPhule's wife #SavitribaiPhule].#Phule is set for a theatrical… pic.twitter.com/3wWUB6BXOd
— taran adarsh (@taran_adarsh) March 24, 2025
“फुले” की कास्ट
फिल्म के मुख्य किरदारों में प्रतीक गांधी और पत्रलेखा मुख्य भूमिकाओं में हैं। प्रतीक गांधी, जो अपनी पिछली वेब सीरीज “स्कैम 1992” से काफी मशहूर हुए थे,तो वहीं दूसरी ओर पत्रलेखा जिन्होंने सावित्रीबाई के दृढ़ निश्चय को प्रभावी ढंग से स्क्रीन पर पेश किया है। निर्देशक अनंत महादेवन इस कहानी को अच्छे से संजोया है और डीसेंट वे में पर्दे पर पेश करेंगे। और इन सब का साथ देने के लिए उनके साथ हैं Zee स्टूडियो,जोकि एक बड़ी प्रोडक्शन कंपनी है।
देखें या न देखें
अगर आपको इतिहास से जुड़ी हुई फिल्में देखना पसंद है,जिसमें सामाजिक मुद्दों को उजागर करने की कोशिश की गई है और समाज में आज भी मौजूद हैं। तब आप इस फिल्म को जरूर रिकमेंड कर सकते हैं। क्योंकि यह ज्योतिराव और सावित्रीबाई के बलिदानों को श्रद्धांजलि देते हुए बनाई गई है।
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