बॉलीवुड के सुपरस्टार आमिर खान पिछले दिनों आयी उनकी नई फिल्म ‘सितारे ज़मीन पर’ को लेकर काफी चर्चा में बने हुए हैं। उन्होंने हाल ही में न्यूज एजेंसी एएनआई से बातचीत में पाइरेसी की समस्या पर खुलकर बोला है। आमिर ने बताया कि उन्होंने स्पेशल एंटी पाइरेसी टीम बनाई है जो इंटरनेट से पाइरेटेड लिंक्स को हटाती है।
वे मानते हैं कि फिल्मों की चोरी रोकना आसान नहीं है लेकिन वे लगातार कोशिश कर रहे हैं। आमिर का कहना है कि अगर फिल्में सस्ती और आसानी से उपलब्ध हों, तो लोग पाइरेटेड वर्ज़न की तरफ नहीं जाएंगे। यह तरीका न सिर्फ क्रिएटिव लोगों को हौसला देगा बल्कि इंडस्ट्री को भी मजबूत बनाता है।
यूट्यूब पर फिल्म रिलीज़:
आमिर ने अपनी फिल्म को थिएटर के बाद यूट्यूब पर रिलीज़ करने का फैसला किया है। 1 अगस्त से यह फिल्म “यूट्यूब मूवीज” पर पे पर व्यू मॉडल के तहत उपलब्ध होगी। भारत में इसकी कीमत सिर्फ 100 रुपये रखी गई है जबकि दूसरे देशों में ये कीमत वहां के लोकल मार्केट के हिसाब से होगी।

आमिर कहते हैं कि यूट्यूब उनके लिए एक नया सिनेमा चेन जैसा है जो हर किसी की जेब में फिट बैठता है। उन्होंने ओटीटी प्लेटफॉर्म्स को छोड़कर यूट्यूब को चुना, क्योंकि ओटीटी सब्सक्रिप्शन पर आधारित है जबकि यह तरीका सीधा पे पर व्यू है, इससे फिल्म ज्यादा लोगों तक पहुंचेगी खासकर वे जो थिएटर नहीं जा पाते।
मल्टीप्लेक्स की महंगाई
आमिर ने मल्टीप्लेक्स की ऊंची टिकट और फूड कीमतों पर भी अपनी राय रखी, वे कहते हैं कि 2005-2006 से बने ये मल्टीप्लेक्स काफी लग्जरी हैं जैसे कोई फाइव स्टार होटल हों यहां की सुविधाएं ज्यादा हैं इसलिए कीमतें भी ऊंची हैं लेकिन हर कोई इतना खर्च नहीं कर सकता। आमिर का यह मॉडल उन लोगों के लिए है जो साधारण तरीके से फिल्म देखना चाहते हैं। वे चाहते हैं कि सिनेमा हर तरह के लोगो तक पहुंचे बिना ओवर मेहेंगे टिकट के।
पाइरेसी रोकने में कैसे मदद करेगा यह मॉडल?
आमिर का मानना है कि सस्ती कीमत पर फिल्म उपलब्ध कराने से पाइरेसी कम होगी। उन्होंने कहा कि भारत की आबादी इतनी बड़ी है लेकिन थिएटर में सिर्फ 2-3% लोग ही फिल्म देख पाते हैं। बाकी 97% को कैसे पहुंचाएं? यूट्यूब जैसे प्लेटफॉर्म से यह संभव है क्योंकि यह हर डिवाइस पर पहले से इंस्टॉल होता है। साथ ही उनका चैनल ‘आमिर खान टॉकीज’ पर कई वीडियो फ्री हैं जो नए क्रिएटर्स को मौका देते हैं।

फिल्म के बारे में
‘सितारे ज़मीन पर’ तारे ज़मीन पर की सीक्वल है जिसमें आमिर एक बास्केटबॉल कोच की भूमिका में हैं, जो न्यूरोडाइवर्जेंट बच्चों को ट्रेन करते हैं। फिल्म में जेनेलिया देशमुख भी हैं और इसे प्रसन्ना ने डायरेक्ट किया है। थिएटर में 20 जून को रिलीज़ हुई यह फिल्म अब डिजिटल पर आ रही है,
आमिर उम्मीद करते हैं कि यह मॉडल सिनेमा इंडस्ट्री में बदलाव लाएगा, उनका यह कदम भारत में हो रही पाइरेसी को रोकेगा और ज्यादा लोगों को मनोरंजन देगा। कुल मिलाकर आमिर की यह पहल वाकई तारीफ के क़ाबिल है जो फिल्मों को सबके लिए सुलभ बनाती है।
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